प्रौद्योगिकी हमारे जीवन का विभिन्न अंग बन चूका है | इसका विकसित लगातार हो रहा है, नई तकनिकी अविष्कार बाजार में तूफान ला रही है |आर्थिक वृद्धि की प्रकिया में प्रौद्योगिकी को मौलिक कारक माना जाता है | प्रौद्योगिकीय परिवर्तन का मतलब है ‘पूंजी और मशीनरी के उत्पादन में प्रयुक्त तकनिकी और ज्ञान |
प्रौद्योगिकी व्यवहारिक और औद्योगिक कला और उपयोगी विज्ञानो से संबंधित अध्ययन और विज्ञान का संग्रह है | जो लोग प्रौद्योगिकी को व्यवसाय के रूप में ग्रहण करते हैं, उन्हें अभियन्ता (इंजिनियर) कहा जाता है |
प्रस्तावना :
प्राचीनकाल से मनुष्य दूरस्थ व्यक्ति से संपर्क के अन्य कई प्रकार के इलाज को काम में ला रहा है, आदिम जन जातियाँ को ढोल या नगाड़ों की ध्वनि अथवा सिंग के बाजों द्वारा संदेश दीए जाते थे | इसके बाद धीरे-धीरे डाक प्रणाली का विकास हुआ | इसी प्रकार से प्रौद्योगिकी नें वस्तृत रूप से मानव जाति के विकास के लिए बहुत ही मदद किया है |
प्रौद्योगिकी के तकनीकी आविष्कार ने मानव जीवन को अत्यंत ही सुविधाजनक बना दिया है | विश्व के अन्य कई भागो में लोगों से जुड़े रहना, दूर की यात्रा करना और खाना पकानें में आसानी जैसे कुछ बेहतरीन चीजें हैं, मानव के लिए निवेदित की है | प्रौद्योगिकी नई मशीन और उपकरण का उत्पादन करने के लिए वैज्ञानिक ज्ञान का उपयोग है | जिसके कारण किसी भी सेवाओं का आदान -प्रदान किया जा सकता है |
मानव जाती के लिए प्रौद्योगिकी का प्रभाव 
मानव जीवन की दो पहलु होती है, समाज और प्रौद्योगिकी | सामाजिक परिवर्तन व्यवस्था का प्रगति तथा परिवर्तन है | पहले से ही प्रौद्योगिकी मानव जीवन में एक मामला था | परंतु यह असल में मानव हमारे अस्तित्व को आकार करने लगे जब प्रौद्योगिकी क्रांति तक ही था |
मानव संसाधन किसी भी संगठन की महत्वपूर्ण संपत्ति है | यह मनुष्य और समाज को समान परत से किसी वरिष्ठ परत की तरफ चलना है तो उसे प्रौद्योगिकी का उपयोग करना अत्यंत ही आवश्यक है | क्योंकि मानव हमेंशा अपने जीवन को सुखमय बनाना चाहता है | परंतु मानव अपने काम और अपनी सोंच के हिसाब से परिवर्तन लाकर उसे नया बनाना चाहता है |
प्रौद्योगिकी परिवर्तन का “प्रयोजन”
प्रौद्योगिकी परिवर्तन केवल तकनिकी ज्ञान सुधर नहीं है | इसका प्रयोजन इससे कहीं ज्यादा ही है, जैसे सामाजिक, राजनैतिक और प्रशासनिक संस्थाओं में भी सुधार लाने की क्षमता रखता है | प्रौद्योगिकी प्रकृति की सभी संभव तरीके से उर्जा इकठ्ठा करने का सबसे बलशाली साधन है |
प्रौद्योगिकी व्यक्ति की क्षमता को ठोस बनाती है | तथा उसे प्रकृति की विशाल शक्ति को प्रयुक्त करनें के लायक बनती है | तथा उन्नति और आर्थिक वृद्धि की संक्रियक शक्ति भी है | इस प्रकार से प्रौद्योगिकी उन्नति में नईकौशल की रचना, उत्पादन का नया साधन, कच्चे माल का प्रयोग और मशीनरी के विस्तृत प्रयोग समाविष्ट हैं |
निष्कर्ष :
हम अपनें दैनिक जीवन में जो भी चीजों का उपयोग करते हैं, वह अधिकतर प्रौद्योगिकी का दिता हुआ भेंट है | परंतु इसकी कल्पना हम अपने जीवन नहीं कर सकते हैं |