भूमिका :
दशहरा हिंदुओं का प्रसिद्द त्यौहार है जो पुरे भारत में प्रति-वर्ष पुरे हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है | यह त्यौहार अश्विन मास के शुक्ल पक्ष की दशमी को मनाया जाता है | दशहरा का यह त्यौहार मुख्य रूप से १० दिन तक मनाया जाता है |
भारत को त्योहारों का देश कहा जाता है जिसमें दशहरा हिंदू धर्मावलंबियों का एक प्रमुख त्यौहार है | इसे दशहरा या विजयादशमी के नाम से भी जाना जाता है |
माता की शक्ति का प्रतिक
दशहरा का संबंध शक्ति से माना जाता है, जिसमें शक्ति के लिए दुर्गा माता की उपासना किया जाता है |दशहरा का त्यौहार अलग-अलग क्षेत्रों में विभिन्न प्रकार से मनाया जाता है | दशहरा को नवरात्रि और रामलीला का अंतिम चरण और दिवाली की ख़ुशी का आरंभ माना जाता है | यह एक धार्मिक और पारंपरिक त्यौहार है |
दशहरा दसवें दिन मनाया जाता है
दशहरा के इस त्यौहार को पश्चिम बंगाल में विशेष महत्व है | नवरात्रि के पश्चात दसवें दिन दुर्गा माता की प्रतिमा को विसर्जित किया जाता है | भारत में दशहरा पौराणिक काल से ही मनाया जाता जा रहा है | इसके मनाये जानें का कारण पौराणिक कथाओं में सुनने को मिलता है |
भारत में दशहरा विभिन्न रीती रिवाजों के अनुसार सभी प्रांतों में विभिन्न प्रकार से मनाया जाता है | जैसे, पश्चिम बंगाल, झारखंड, बिहार आदि राज्यों में दुर्गा माँ का नौ अलग-अलग रूपों का पूजा किया जाता है |
बुराई पर अच्छाई की जीत
हिंदू पंचांग के अनुसार दशहरा अश्विन महीने के दसवें दिन मनाया जानेवाला यह नवरात्री उत्सव का आखिरी दिन भी होता है | यह त्यौहार रावण पर भगवान राम की जीत का स्मरण कराता है |
इसलिए यह बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतिक है | भारत के पूर्वी हिस्से में यानि पश्चिम बंगाल में यह त्यौहार को दुर्गा पूजा के रूप में मनाया जाता है | पश्चिम बंगाल में दुर्गा पूजा को साल का सबसे बड़ा त्यौहार माना जाता है |
भैंस रुपी असुर का विनाश
दुर्गा माता का नौ दिनों तक पूजा अर्चना करने के बाद दसवें दिन दुर्गा माता की प्रतिमा को धूमधाम से पानी में विसर्जित किया जाता है | ऐसा माना जाता है की दुर्गा माता भैंस रुपी असुर का विनाश करने और लोगों का धर्म में विश्वास कायम रखने आती है |
पौराणिक कथा
उत्तर भारत में दशहरे का त्यौहार रामलीला रामायण पर आधारित एक नाटक है | इस दिन असुर रावण, कुंभकरण और मेघनाद के पुतले जलाये जाते हैं | इस दिन भगवान राम ने रावण का वध करके सीता माता को आज़ाद करवाया था | इसलिए इस त्यौहार का दूसरा नाम विजयादशमी भी है |
यह एक ऐसी धारणा है की पुतलों के साथ सारे पाप जल कर राख हो जाते | भारत के दक्षिणी हिस्से में इस त्यौहार को सरस्वती पूजा के रूप में मनाया जाता है |
निष्कर्ष :
दशहरा का त्यौहार हर साल आता है और लोगों के मन में भक्तिभाव भर जाता है | भारत में दशहरा देश-विदेश से लोग आते हैं, रामलीला के साथ मेले का भी आयोजन किया जाता है |